Search Your Song
मद मातो रे कान्ह गलियन डोलै।।
मलत गुलाल सवन के मुख सों, हंस हंस कर घूंघट खोलै।।
चिंतामणि अति ढीठ लंगरवा, हो हो हो होरी बोलै।।